वजूद
- Gaurav Chaubey
- Mar 6, 2023
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सुखे पत्तों सी हो गई है जिंदगी,
किसी ने किताबों में सजा लिया,
किसी का प्रेम पत्र बन गया हूं मैं,
तो कोई जला कर खुश है मुझे,
रंज नहीं जो जुदा हूं अपनी साख से,
खुश हूं चाहने वालों का वजूद बन गया हूं मैं
- गौरव चौबे
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